प्रयागराज महाकुम्भ में प्रथम अमृत स्नान के लिए हिंदू धर्म की रक्षा में तत्पर नागा संन्यासियों, योगियों, महंतों, महामंडलेशवरों की टोलियां रथों, हाथी, घोड़ों और ऊंटों पर सवार होकर निकली।
सूर्य की पहली किरण के साथ संगम तट गंगा मैया की जय और हर हर महादेव के उद्घोष से गूंज रहा है। भगवान सूर्य को जल देते श्रद्धालु भारत की प्राचीन परंपराओं का ह्रदय से पालन करते हुए पुण्यलाभ कमा रहे हैं।
महाकुम्भ मेले की भव्यता को दर्शाते हुए श्रीपंचायती निर्मल अखाड़े की छावनी प्रवेश यात्रा शुरू हुई। रथ, बग्घी और घोड़ों पर सवार महामंडलेश्वर एवं साधु-संतों ने रामबाग से यात्रा की शुरुआत की।
अयोध्या में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा की प्रथम वर्षगांठ पर समस्त देशवासियों को बहुत-बहुत शुभकामनाएं। सदियों के त्याग, तपस्या और संघर्ष से बना यह मंदिर हमारी संस्कृति और अध्यात्म की महान धरोहर है। मुझे विश्वास है कि यह दिव्य-भव्य राम मंदिर विकसित भारत के संकल्प की सिद्धि में एक बड़ी प्रेरणा बनेगा
सभी लोगों को, टीबी लक्षण हों या न हों, एक्स-रे द्वारा संभावित टीबी की जाँच, और जिनको संभावित टीबी हो उनको मॉलिक्यूलर टेस्ट जाँच मिलनी ज़रूरी है - जिससे कि सभी टीबी रोगियों को बिना-विलंब सही प्रभावकारी इलाज मिल सके।
अमेरिका के पूर्व-राष्ट्रपति श्री जिमी कार्टर के निधन से बहुत दुःख हुआ। वे एक महान दूरदर्शी राजनेता थे, जिन्होंने वैश्विक शांति और सद्भाव के लिए अथक प्रयास किया। भारत-अमेरिका के बीच संबंधों को मजबूत बनाने में उनके योगदान ने एक स्थायी विरासत छोड़ी है। उनके परिवार, मित्रों और अमेरिका के लोगों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदनाएं
पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह जी को अंतिम श्रद्धांजलि अर्पित की। भारत के लिए उनकी सेवा को सदैव याद रखा जाएगा।
आत्मविश्वास के साथ-साथ, गुकेश में शांत-चित्त और विनम्रता भी है। जीतने पर, वे शांत थे, अपनी महिमा में डूबे हुए थे और पूरी तरह से समझ रहे थे कि इस कड़ी मेहनत से अर्जित जीत की प्रक्रिया को कैसे आगे बढ़ाया जाए। आज हमारी बातचीत योग और ध्यान की परिवर्तनकारी क्षमता पर केंद्रित रही
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि डॉ. मनमोहन सिंह साधारण पृष्ठभूमि से उठकर एक सम्मानित अर्थशास्त्री बने। हमारे प्रधानमंत्री के रूप में, डॉ. मनमोहन सिंह ने लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए व्यापक प्रयास किए।
जहां इसे नियमित रूप से फहराया जाता है और राजकीय शोक की अवधि के दौरान कोई आधिकारिक मनोरंजन नहीं होगा। यह भी निर्णय लिया गया है कि दिवंगत डॉ. मनमोहन सिंह का अंतिम संस्कार पूरे राजकीय सम्मान के साथ किया जाएगा।